: जय श्री राम' और 'जय बजरंगबली' पर स्वामी प्रसाद मौर्य का विवादास्पद दावा: 'दंगे का लाइसेंस बन गया नारा'; संत समाज ने तीखा विरोध किया
'जय श्री राम' और 'जय बजरंगबली' पर स्वामी प्रसाद मौर्य का विवादास्पद दावा: 'दंगे का लाइसेंस बन गया नारा'; संत समाज ने तीखा विरोध किया
उत्तर प्रदेश लखनऊ : राष्ट्रीय शोषित समाज पार्टी (RSSP) के अध्यक्ष स्वामी प्रसाद मौर्य ने लखनऊ में प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान 'जय श्री राम' और 'जय बजरंगबली' के नारों को "दंगे का लाइसेंस" बताया। उन्होंने आरोप लगाया कि इन नारों की आड़ में मुस्लिम समुदाय के प्रतिष्ठानों और घरों को निशाना बनाया जा रहा है।सीएम योगी पर निशाना: मौर्य ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पर भेदभाव का आरोप लगाते हुए कहा कि बुलडोजर सिर्फ मुस्लिम समाज के शैक्षणिक संस्थानों, घरों और ईदगाहों पर चलता है, जबकि भाजपा से जुड़े "गुंडों और माफियाओं" पर कोई कार्रवाई नहीं होती।मुख्य आरोप और विवाद:
अदालती प्रक्रिया का उल्लंघन: उन्होंने कहा कि सीएम अदालत का काम स्वयं कर रहे हैं, जो संविधान की मर्यादा का उल्लंघन है।
फतेहपुर और अलीगढ़ का जिक्र: उन्होंने फतेहपुर में मकबरे पर तोड़फोड़ और अलीगढ़ में मंदिर पर 'I Love Mohammad' लिखकर साजिश रचने की घटना का हवाला दिया, और अलीगढ़ पुलिस द्वारा सच्चाई सामने लाने की सराहना की।
कानून व्यवस्था पर चिंता: उन्होंने SC, ST, OBC और अल्पसंख्यक समुदाय पर अत्याचार बढ़ने और भाजपा शासित राज्यों में आपराधिक गतिविधियों में वृद्धि पर चिंता जताई।
विरोध प्रदर्शन की घोषणा: मौर्य ने एससी-एसटी पर हो रहे अत्याचार के खिलाफ 3 नवंबर को प्रत्येक जिलाधिकारी कार्यालय के बाहर धरना देने का ऐलान किया।
साधु-संतों की कड़ी प्रतिक्रिया (वृंदावन): मथुरा के वृंदावन में साधु-संतों ने इस बयान का कड़ा विरोध किया और सरकार से मौर्य के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई करने की मांग की। संतों ने आरोप लगाया कि स्वामी प्रसाद मौर्य अपनी वोट बैंक की राजनीति के लिए लगातार सनातन धर्म और उसके नारों का अपमान कर रहे हैं। साध्वी इंदुलेखा और संत दिनेश शर्मा सहित अन्य संतों ने उन्हें सनातन धर्म को बदनाम करने वाला बताया।
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